विदेशों में सकारात्मक रुख एवम् तेल मिलों में मांग के चलते सरसों में उछाल, जानें सरसों मंडी भाव तेजी मंदी रिपोर्ट
Mustart price: सरसों मंडी भाव में पिछले सप्ताह से तेजी का रुख बना हुआ है, जयपुर मंडी में कंडीशन सरसों की कीमतें दिन 50 रुपए की तेजी के साथ 5700 रुपए प्रति क्विंटल तक पहुंच गया, वही दैनिक आवक घटकर 2.75 लाख बोरी की आवक हुई, वही लॉरेंस रोड दिल्ली में सरसों का आज 25 रुपए तेजी के साथ खुला एवम् भाव 5525 रुपए प्रति क्विंटल तक पहुंच गया वही सरसों मंडी भाव में ऑयल एक्सप्लेरर के भाव 5 रुपए की तेजी के साथ 1000 रुपए ओपन हुआ।
सरसों मंडी भाव एवम् सोया तेल तेजी मंदी रिपोर्ट (Mustard Price Today)
लगातार विदेशी बाज़ारों में सकारात्मक रुख को देख घरेलु बाजार में खाद्य तेलों में बढ़त जारी रहने की उम्मीद है,लगातार पांचवे दिन केएलसी में बढ़त देखने को मिली, दूसरी ओर चीन के मार्केट और सीबीओटी सोया तेल में मजबूती से केएलसी को सहारा मिला। सीबीओटी सोया तेल में बढ़त के चलते अर्जेंटीना सोया तेल में भी वहीं अंतराष्ट्रीय बाजार में सूरजमुखी तेल के भाव भी बढ़ने से सोया और पाम तेल को मिल रहा है सहारा मिल रहा है।
अंतर्राष्ट्रीय बाजारों से सोया तेल रिपोर्ट
वही अर्जेंटीना सोया तेल में बढ़त से सोया तेल का लैंडिंग कॉस्ट 0.50 रुपये / किलो बढ़ने की उम्मीद जताई गई है,आज 10 बजे एमपीओबी की रिपोर्ट जारी होगी जिसपर मार्केट की नजर रहेगी, मलेशिया पाम तेल के स्टॉक पर फोकस रहेगा जो 2 % गिरने का अनुमान है, पाम तेल का स्टॉक उम्मीद से ज्यादा गिरेगा तो केएलसी के लिए सकरात्मक मान जाएगा , विदेशी बाज़ारों में सकारात्मक रुख को देख घरेलु बाजार में खाद्य तेलों में 5-15 रुपये / 10 किलो की बढ़त की उम्मीद।
उधर शिकांगो में सोया तेल में भी वृद्धि देखने को मिली। बता दे कि व्यापारियों के मुताबिक विश्व बाजार में खाद्य तेलों के दाम में अभी एक तरफ तेजी होने के उम्मीद कम है। हालांकि घरेलू बाजार में मांग होने के चलते सरसों तेल के कीमत में लगातार दूसरे दिन सुधार देखने को मिला और इस दौरान सरसों कल के भाव भी बढ़ा।
व्यापारियों के मुताबिक सरसों उत्पादक मंडियों में दैनिक आवक समान रही। सभी प्रमुख उत्पादक राज्यों में सरसों किस स्टॉक की बात की जाए तो स्टॉकिस्टों और किसानों के पास पिछले साल के मुकाबले अभी भी स्टॉक ज्यादा मात्रा में बचा हुआ है।
Mustard Price Today: ऐसे में सरसों की अराइवल बनी रहेगी और खपत का सीजन होने के चलते सरसों तेल की मांग में भी बराबर चलती रहेगी। इसके बावजूद सरसों मंडी भाव की कीमतों में तेजी या मंदी काफी हद तक के दाम पर ही निर्भर करने वाली है। व्यापार अपने विवेक से करें।
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