खेती बाड़ी

कृषि वैज्ञानिकों ने की कपास की नई वैरायटी तैयार, 20 क्विंटल पैदावार सहित लंबे रेशे ज्यादा उत्पादन की गारंटी

WhatsApp Group Join Now
Telegram Group Join Now

Cotton new variety 2024 | हाल ही में कृषि वैज्ञानिकों द्वारा कपास की नई वैरायटी तैयार की गई है जो अधिक पैदावार देने वाली मानी जा रही है, इस किस्म को इजात करने के चलते निजी कंपनियों के एकाधिकार पर अंकुश लगेगा, एवम् किसानों को भी अधिक लाभ होगा।

व्हाट्सऐप ग्रुप 👉 ज्वाइन करें

हाल ही में जारी ब्यान के मुताबिक साल 2006 में कपास की किस्म JKHY 1 इजात की गई थी जो 28 मीटर लंबाई के रेशे के साथ उत्पादन के लिहाज से तकरीबन 12 से 14 क्विंटल प्रति हेक्टेयर देती थी, परंतु इस किस्म के इजात के बाद अब 20 क्विंटल प्रति हेक्टेयर तक उत्पादन पहुंच जायेगा जिससे किसानों को अतिरिक्त लाभ होगा।

कृषि वैज्ञानिकों द्वारा कपास की नई वैरायटी तैयार । New variety of Cotton

जानकारी के अनुसार इस किस्म को कृषि वैज्ञानिकों द्वारा 17 साल बाद तैयार किया गया है, इसे राजमाता विजयाराजे सिंधिया कृषि विश्वविद्यालय से संबद्ध, खंडवा कृषि महाविद्यालय और अनुसंधान संस्थान द्वारा कपास की यह नई हाइब्रिड बीज को तैयार किया है। इस अधिक पैदावार देने वाली किस्म को तकरीबन 17 साल लगे हैं, जो अपनी गुणवत्ता के लिए किसानों को लाभ देगी। इस नई कपास की किस्म को कृषि वैज्ञानिकों द्वारा KHH-VS-1318-1 नाम दिया गया है, यह कपास की किस्म बीटी को संकर के रूप में किसानों को उपलब्ध कराया जाएगा ।

 

कपास की नई किस्म देगी 20 कुंटल उत्पादन

कपास की किस्म KHH-VS-1318-1 को अभी तक किसानो तक पहुंच में और समय लग सकता है। किसानों तक यह हाइब्रिड बीज तकरीबन एक साल और लग सकता है। इसका प्रमुख कारण यह है कि मातृ बीज को परीक्षण हेतु भारतीय कृषि अनुसंधान परिषद (आईसीएआर) को भेजा गया है। यदि सफल परिणाम आता है उसके बाद किसानों के लिए बीज उत्पादन का काम शुरू कर दिया जाएगा, खंडवा कृषि महाविद्यालय के वैज्ञानिकों का कहना है कि कपास के इस हाइब्रिड बीज की पैदावार 20 क्विंटल प्रति हेक्टेयर होगी और इसके रेशे की लंबाई भी 32 मीटर से अधिक होगी ।

 

कपास का बुवाई का सही समय क्या है?

Top Kapas variety | भारत में अलग अलग क्षेत्र के हिसाब से भारत में कपास की बुवाई की जाती है , मुख्य तौर पर उतरी भारत में कपास की बुवाई अप्रैल मई माह में जबकि दक्षिण भारत में इसकी बुवाई का उचित समय अलग रहता है, वही कपास के प्रमुख उत्पादक राज्यों में हरियाणा राजस्थान पंजाब उतर प्रदेश गुजरात महाराष्ट्र कर्नाटक आंध्र प्रदेश आदि में खरीफ सीजन में की जाती है। उक्त क्षेत्रों में मार्च से मई में सिंचित भूमि में जबकि मानसून आधारित बुवाई जून जुलाई माह में की जाती है। वही तमिलनाडु में बड़ा हिस्सा सितंबर एवम् अक्तूबर माह में बोया जाता है, दूसरी ओर दक्षिण भारत के राज्यों मै बुवाई नवंबर माह तक की जाती है।

 

See also 👉 Toyota Innova: अब आपके बजट में टॉयोटा इनोवा, 6 लाख में लग्जरियस फील वाला घर

 

Web Desk

Umang Haryana News Website is a leading news platform dedicated to the state of Haryana, providing the latest news, events, and information. Here, you will find comprehensive news in Hindi covering politics, education, employment, agriculture, weather, and culture. The mission of Umang Haryana is to deliver accurate and reliable news to the citizens of Haryana and keep them updated on the latest happenings in the state. The website also offers information about new government schemes, programs, and job opportunities. Umang Haryana News is the voice of the state, connecting you to the most recent and significant news every day.

Related Articles

Back to top button